नागपुर हिंसा पर सख्त हुए सीएम फडणवीस, डिप्टी सीएम शिंदे ने जताई साजिश की आशंका
नागपुर। नागपुर में भड़की हिंसा को लेकर मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने कड़ा रुख अपनाया है, जबकि डिप्टी सीएम एकनाथ शिंदे ने इस घटना को पूर्व नियोजित साजिश करार दिया है। शिंदे ने कहा कि पेट्रोल बम का इस्तेमाल किया गया, जिसमें 4 डीसीपी और कई पुलिसकर्मी घायल हो गए हैं। प्रशासन ने इलाके में कर्फ्यू लगा दिया है, हालांकि सुबह इंटरनेट सेवाएं बहाल कर दी गईं।
50 से अधिक गिरफ्तार, दोनों पक्षों पर हुई FIR
नागपुर पुलिस ने हिंसा में शामिल 50 से अधिक लोगों को गिरफ्तार कर लिया है। वहीं, दूसरे पक्ष की शिकायत के आधार पर विश्व हिंदू परिषद (VHP) के कार्यकर्ताओं के खिलाफ भी एफआईआर दर्ज की गई है।
कैसे भड़की हिंसा?
नागपुर हिंसा ने न केवल महाराष्ट्र बल्कि पूरे देश को झकझोर कर रख दिया। रिपोर्ट के मुताबिक, औरंगजेब की कब्र के बाहर हुए प्रदर्शन के दौरान 200-300 लोगों की भीड़ अचानक जमा हो गई। इसी दौरान अफवाह फैली कि मुस्लिम समुदाय के पवित्र ग्रंथ को जलाया गया है, जिससे स्थिति और बिगड़ गई।
इसके बाद उग्र भीड़ ने पथराव, तोड़फोड़ और आगजनी शुरू कर दी।
✔ कई घरों और वाहनों को निशाना बनाया गया।
✔ 8 गाड़ियों में तोड़फोड़, 2 को आग के हवाले किया गया।
✔ मुखौटे पहने उपद्रवियों ने पेट्रोल बम का भी इस्तेमाल किया।
✔ अग्निशमन कर्मियों और पुलिसकर्मियों पर हमला किया गया।
स्थानीय लोगों का क्या कहना है?
एक प्रत्यक्षदर्शी के मुताबिक, हमलावर बाहरी लोग थे और एक ही समूह के थे। उन्होंने बताया, “पहले कभी ऐसी घटना नहीं हुई थी। भीड़ में कोई भी चेहरा जाना-पहचाना नहीं था, जिससे हमें अनहोनी की आशंका हुई।”
लोगों ने दावा किया कि हमलावर योजना बनाकर आए थे और सुनियोजित तरीके से हमला किया गया। पुलिस ने स्थिति को नियंत्रण में लाने के लिए तुरंत कार्रवाई की।
सरकार का रुख
सीएम फडणवीस ने सख्त कार्रवाई के आदेश दिए हैं, जबकि डिप्टी सीएम शिंदे ने हिंसा के पीछे साजिश की आशंका जताई है। प्रशासन ने आश्वासन दिया है कि दोषियों को बख्शा नहीं जाएगा और सख्त कानूनी कार्रवाई की जाएगी।